Answer for कलमदार या बाटिक कला किसे कहते है
वस्त्रों पर रंगाई का काम हाथ से या ब्रश की सहायता से पेंट के द्वारा डिजाइन तैयार करते थे। इसमें डिज़ाइन के जो हिस्से रंग से नहीं रंगना चाहते थे उन पर पिघला मोम लगा देते थे। और जहां मोम नहीं होता थ वही हिस्सा रंग में रंगा जाता था। और जिस पर मोम होता था वहां रंग नहीं चढ़ता था। इसी कला को आजकल बाटिक कला के नाम से पुकारते हैं। इस तरह की रंगाई में दृश्यों को, पौराणिक कथाओं को माध्यम बनाया जाता था अथवा बेल, बूटे, पौधे, गमले भी बना कर उन्हें मूल (Original) रंगों के समान सजाया जाता है। भारत के पारम्परिक वस्त्रों के पश्चात अब भारत की पारम्परिक कसीदाकारी (Embroidery) के विषय में भी जानना आवश्यक है।