Answer for वस्त्रों की मरम्मत कैसे की जाती है
वस्त्रों को प्रयोग करते समय या उतार कर रखते हुए कई बार सिलाइयां, बटन टूट जाते हैं या चलते-फिरते कहीं पर वस्त्र अटक जाते हैं तो फट जाते हैं। जब ऐसे वस्त्रों को उतारें तो तुरंत ही उनकी मरम्मत का कार्य करें। जैसे टूटे बटनों को लगाना, सिलाइयां उधड़ गई हैं तो उनको पुनः सिलना, कपड़ा फट गया है तो उसे रफू के द्वारा मरम्मत करना आदि काम गृहणी को तुरन्त ही करने चाहिए। इससे यह लाभ होता है कि पुनः वे वस्त्र धुल कर आयरन होकर रखने से पुन: कहीं जाने पर यदि सामने आ जाएं तो मन खराब होता है। झुंझलाहट भी आती है और वस्त्र का फटा स्थान धुलने से तथा आयरन (iron) होने से बढ़ भी सकता है। बटनों को तथा हुकों को अवश्य पक्का कर देना चाहिए ताकि दोबारा परेशानी का कारण न बने। कभी-कभी काज भी फैल जाते हैं, उनको भी दोबारा टाइट कर देना चाहिए। नहीं तो बार-बार बटन उसमें से निकलते रहेंगे।