Answer for मानव शरीर कितने प्रकार के होते है

ईश्वर द्वारा बनाए गए सभी मनुष्य 206 हड्डियों के ढांचे से ही बने हैं, किन्तु सभी शरीर एक जैसे नहीं होते है। किसी के शरीर जन्मजात, तो किसी के दुघर्टना वश या व्यवसाय के अनुसार भिन्न-भिन्न तरीके के हो जाते हैं। नीचे दिए गए विवरण में प्रकृति प्रदत्त कुछ कमी, कुछ अधिकता या विकलांगता के चिन्ह दिए जा रहे हैं। उन दोषों को वस्त्रों में छुपाने के लिए या उन पर वस्त्र सुन्दर दिखने के लिए एक दर्जी का कार्य सीखने वाले शिक्षार्थी को क्या-क्या करना होगा यही बताया जा रहा है। सर्वप्रथम असमान्यता ढूंढने या देखने के लिए सभी को सामान्य अर्थात् नारमल व्यक्ति का ज्ञान होना आवश्यक है, ताकि ठीक प्रकार से असमान्यता का अन्तर महसूस किया जा सके।
1. सामान्य आकृति (Normal Figure)- जिस व्यक्ति का शरीर पूर्णत: दोषमुक्त हो, तथा पुरुष की ऊँचाई 5′-4″ अर्थात् 163 से. मी. एवं स्त्री की लम्बाई 5-2″ अर्थात् 158 से.मी. हो ऐसे महिला एवं पुरुष सामान्य अर्थात् नार्मल कहलाते हैं।
2. पतला एवं लम्बा शरीर (Tall and Thin) – चिन्ह – लम्बा कद अच्छी सेहत, गिरे हुए कन्धे, नाभि के ऊपर का शरीर अधिक, नीचे का कम।
3. छोटा व मोटा (Short and Stout)- यह व्यक्ति पहले वाले से विपरीत है। अनुपातिक होते हुए भी लम्बाई कम होने से वह मोटा दिखाई देता है।
5. कुबड़ा शरीर (Stooping Figure) – तीसरे नम्बर से विपरीत आकृति होती है। (i) झुककर चलते हैं। ऐसा किसी रोग के कारण या व्यवसाय के कारण भी हो जाता है। या आदत भी हो सकती है। (ii) रीढ़ की हड्डी पर उभार होगा तथा छाती भीतर को दबी होगी।
6. ढलवाँ कन्धे (Sloping Shoulder) – (i) कुछ व्यक्तियों के कन्धे कुछ अधिक व किसी के कम या एक अधिक व एक कम ढलवाँ होते हैं। (ii) गर्दन लम्बी प्रतीत होती है।
7. चपटे कन्धे (Square Shoulder) – यह पाँचवें नम्बर के विपरीत आकृति है। कन्धे चपटे होने से गर्दन छोटी प्रतीत होती है।
8. मोटा शरीर (Corpulent) – (i) इस आकृति में छाती व हिप से कमर का नाप अधिक होगा। (ii) कन्धे की हड्डियाँ गोलाई में, कमर में गड्ढा, कन्धे झुके हुए तथा चपटे हिप होते हैं।
9. अर्द्ध मोटा शरीर (Semi-corpulent) (i) इसमें छाती, कमर व हिप एक बराबर होते हैं। (ii) पेट बाहर होने के साथ ही साथ हिप भी मोटे होंगे।
10. समतल छाती (Flat Bust)- ऐसी महिलाओं की छाती में उभार न होने के कारण सामने चपटापन होगा। ध्यान देने योग्य बातें – इनके ब्लाउज या कमीज की कटिंग करते समय वक्ष स्थल का निरीक्षण करके ही डार्ट्स का प्रयोग करेंगे। केवल सामने की डार्ट ही डालेंगे। और अन्य कोई नहीं। वरना सामने कपड़ा इकट्ठा होता दिखाई देगा।
11. उठी हुई छाती (Prominent Bust) (i) ऐसी स्त्रियों की छाती नारमल छाती से अधिक उठी हुई होती (ii) इनकी आगे की कन्धे से कमर अधिक रखनी होगी क्योंकि छाती अधिक उठी है।
12. उठी हुई छाती (Hump Bust or Chest) – ऐसी आकृतियों में आगे की यानि छाती की हड्डी बढ़ी हुई होती है। यह प्राय: C (सी) आकार में होती है।
14. चपटे हिप (Flat Hip) – जिनके हिप चपटे होते हैं उनका अगला हिस्सा निकला हुआ होता है।
15. भारी कूल्हे (Prominent Hip) -(i) ऐसी महिला का भारी कूल्हे होने से पीछे का भाग ज्यादा उभार पर होगा, और आगे का अन्दर को। (ii) यदि हिप बहुत ही अधिक भारी हों तो आगे का घेरा कम तथा पीछे का अधिक भी रखा जा सकता है।
16. कबूतरी छाती (Pigeon Chest) – इसमें छाती कबूतर के समान उठी होती है।
17. मुड़े पैरों वाला (Turn Toes)- पैर अन्दर की ओर को या बाहर की ओर मुड़े होते है। ध्यान देने योग्य बातें – पुरुषों में पैंट की क्रीस को सामने रखने के लिए घुमाना होता है। यदि पैर अन्दर की ओर मुड़े हों तो क्रीस लाईन को अन्दर की ओर घुमाएँ, यदि बाहर की ओर मुड़े हों तो क्रीस लाईन को बाहर की ओर घुमा दें, ताकि क्रीस व्यक्ति की टांगों के सामने ही रहे। स्त्रियों में ऐसा दोष होने पर परिवर्तन नहीं करना पड़ता, क्योंकि यदि सलवार हो तो चुन्नटें इधर-उधर हटा लेते हैं, और साड़ी हो तो उसकी फॉल के हिसाब से घुमाकर बाँधा जा सकता है। इसके अतिरिक्त बहुत से शरीर ऐसे हैं जो कि और प्रकार के दोष युक्त होते हैं। सिर्फ उनकी अपगंता को ठीक प्रकार से निरीक्षण करके अपनी कटिंग में ले आने पर वस्त्र दोष रहित बन जाएंगे। केवल इतना ध्यान रहे कि किसी भी आकृति का अनुमान न लगाएं, और न ही किसी के बताने पर आप वस्त्र की कटिंग में अन्तर करें। यदि फिटिंग ठीक पहननी या पहनानी है तो व्यक्ति का अवश्य निरीक्षण करें तभी कटिंग करें।

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