Answer for मेंटीनेन्स, समस्यायें और समाधान कैसे होता है

⇨ प्रिंटर को प्रयोग करने के लिए जरूरी है कि आप उसके ड्राइवर को ऑपरेटिंग सिस्टम में अच्छी तरह से इंस्टाल कर लें। यदि ऐसा नहीं है तो आप प्रिंटर से प्रिंटिंग नहीं कर पाएंगे।
⇨ प्रिटर को कम्प्यूटर से जोड़ने के लिए कंपनी द्वारा भेजी गई केबल ही इस्तेमाल करें। कई बार दूसरी केबल प्रयोग करने से प्रिंटर जंक करेक्टर छापने लगता है। वर्तमान समय में यूएसबी पोर्ट से प्रिंटर को जोड़ा जाता है इसलिये USB केबल का प्रयोग करें।
⇨ कम्प्यूटर के BIOS सेटअप में जाकर पैरलल पोर्ट के मोड का भी चुनाव प्रिंटर की क्षमता के अनुसार करें।
⇨ यदि टोनर नया होने पर भी प्रिंटिंग साफ नहीं हो रही है तो टोनर के पास लगे परावर्तन दर्पण को एक सूती कपड़े से साफ कर लें
⇨ प्रिंटर के साथ हमेशा सीवीटी या यूपीएस प्रयोग करें और जब प्रिंटर और कम्प्यूटर दोनों ऑन हों तो न तो इन्हें केबल के द्वारा आपस में जोड़ें और न ही पहले जुड़ी हुई केबल को निकालें। यह कार्य आप दोनों के बंद होने की अवस्था में करें।
⇨ यदि प्रिंटर की प्रिंटिंग गति धीमी है तो इस बात की जांच करें कि आपने जिस केबल से इसे जोड़ा है कहीं उसकी लंबाई तो ज्यादा नहीं है।
⇨ इसके अतिरिक्त कम्प्यूटर में वायरस होना भी प्रिंटिंग गति और प्रिंटिंग की क्वालिटी को प्रभावित करता है।
⇨ लेज़र प्रिंटर को हमेशा नमी से बचा कर रखें। यदि कमरे में नमी ज्यादा है तो इसके द्वारा बहुत ही निम्न कोटि की प्रिंटिंग होगी।
⇨ लेज़र प्रिंटर में प्रयुक्त टोनर कार्टिज के ड्रम को सूर्य की रोशनी में न खोलें और इसे न ही हाथ से छुएं।
⇨ प्रिंटर में हमेशा अच्छी क्वालिटी का कागज प्रयोग करें। यदि कागज की क्वालिटी खराब है तो वह प्रिंटर के अंदर फंस सकता है और प्रिंटर को खराब कर सकता है।
⇨ यदि किसी एप्लीकेशन सॉफ्टवेयर में प्रिंटर ठीक से काम नहीं कर रहा है तो इसकी जांच करने के लिए कि प्रिंटर ठीक है या नहीं ऑपरेटिंग सिस्टम में दी हुई प्रिंट टेस्ट पेज नामक यूटीलिटी का प्रयोग करें।

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