Answer for Authorization से आप क्या समझते है

नेटवर्क कम्प्यूटिंग में आइडेन्टीफिकेशन और ऑथराइजेशन दोनों ही अलग-अलग प्रोसेस होते हैं। जहां पर आइडेन्टीफिकेशन की प्रक्रिया में सिस्टम आपको पहचान कर लॉग-इन करने की अनुमति प्रदान करता है वहीं लॉग-इन होने के बाद सिस्टम में ऑथराइजेशन की प्रक्रिया चालू होती है और इस बात की जांच की जाती है कि आपको किन-किन कार्यों के लिये ऑथराइज किया गया है। के लिये ही ऑथराइज किया गया है तो आप केवल यहीं काम कर पायेंगे और फाइल में कोई फेरबदल नहीं कर पायेंगे तथा न ही फाइल को कहीं कॉपी कर पायेंगे या डिलीट कर पायेंगे।

→ सिस्टम पर काम करने वाले सभी लोग चाहे वह सामान्य यूजर हों या सिस्टम एडमिनिस्ट्रेटर, सभी को लॉग-इन करते समय आइडेन्टीफिकेशन की प्रक्रिया से गुजरना होता है, जब यह प्रक्रिया पूरी हो जाती है तो ऑथराइजेशन की प्रक्रिया शुरू होती है और लॉग-इन करने वाले प्रत्येक यूजर को यह पता चलता है कि सिस्टम में उसे क्या-क्या अधिकार प्राप्त हैं और वह क्या-क्या कार्य कर सकता है।

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